Chhindwara me ghumne ki jagah – छिंदवाड़ा मध्य प्रदेश का एक ऐतिहासिक जगह रही है छिंदवाड़ा का नाम छिंद से लिया है जिसे हम खजूर भी बोलते हैं उसके नाम पर रखा गया है क्यों की छिंदवाड़ा में काफी मात्रा में पाई जाती है प्राचीन काल में यह क्षेत्र गोंड़ जनजातियों के अधीन रहा है और लंबे समय तक उन्होंने यह शासन किए हैं गोंड़ राजा यहां के प्रमुख शासक थे और उन्होंने अपनी संस्कृति और परंपरा को भी बढ़ावा दिया था
मध्यकाल में मराठा शासन के अधीन छिंदवाड़ा रहा है खासकर भोसले मराठी राजाओं का प्रभाव यहां पर काफी रहा है 19वीं शताब्दी में ब्रिटिश साशन के अंतर्गत लाया गया और यह ब्रिटिश शासन का भी हिस्सा हुआ ब्रिटिश काल में यहां पर शिक्षा और इसके विकास काफी मात्रा में हुआ है आजादी के बाद छिंदवाड़ा को मध्य प्रदेश का हिस्सा बना लिया गया और यह जिला अब अपने सांस्कृतिक और प्राकृतिक संसाधनों के लिए जाना जाता है
Table of Contents
1. पातालकोट – Chhindwara mai ghumne ki jagah
पातालकोट एक गहरी खाई का नाम है यहां पर आपको आदिवासी संस्कृति भी देखने को मिलेगी यह गोंड़ और अन्य आदिवासी समुदायों का निवास है पातालकोट की प्राकृतिक सुंदरता पहाड़ और वन्य जीव है जो इसे और ज्यादा आकर्षित बनाते हैं औषधीय के लिए यहां पर भरपूर मात्रा में पौधे मिल जाते हैं
अगर आप ट्रैकिंग करना चाहते हैं और वन्य जीव स्थानीय आदिवासियों को जानना चाहते हैं तो आपको पातालकोट घूमने के लिए जरूर जाना चाहिए इस जगह का नाम पातालकोट भारतीय पुरान से लिया गया है भारतीय पुराने के अनुसार पाताल कोट होता है धरती के नीचे और यहां पर काफी गहरी खाई है इसलिए इस जगह को पातालकोट कहा जाता है
2. छोटा महादेव मंदिर – Chhindwara mein ghumne ki jagah
अगर आप छिंदवाड़ा जाते हैं तो आपको छोटा महादेव मंदिर देखने के लिए जरूर जाना चाहिए यह मंदिर भगवान शिव का है जो एक प्राचीन गुफा में बना हुआ है यहां का वातावरण आपको काफी शांति देगा गुफा के अंदर आपको एक जलधारा बहती हुई दिख जाएगी जो शिवलिंग पर जलाभिषेक करती रहती है
यहां बड़ी संख्या में श्रद्धालु पूजा करने के लिए आते हैं और प्राकृतिक सुंदरता का मजा लेते हैं और शिवरात्रि के मौके पर याह भक्त पूजा अर्चना करते हैं और भगवान शिव के दर्शन करते हैं यह जगह किसी तीर्थ स्थल से कम नहीं है अगर आप छिंदवाड़ा में घूमने जाना चाहते हैं तो इस जगह जा सकते हैं
3. देवगढ़ किला – Chhindwara m ghumne ki jagah
देवघर किले का निर्माण को राजाओं द्वारा 17 बी शताब्दी में करवाया था यह एक महत्वपूर्ण टूरिस्ट प्लेस है किले की दीवार काफी ज्यादा मजबूत है वह गोंड़ वस्तु कला आपको इसके अंदर देखने को मिलती है यहां से आप प्रकृति का खूबसूरत नजारा भी देख सकते हैं किले का कुछ हिस्सा खंडार हो चुका है लेकिन किले का कुछ हिस्सा अभी भी सुरक्षित है अगर आप छिंदवाड़ा जाते हैं तो आपको देवगढ़ घूमने के लिए जरूर जाना चाहिए
4. बादल भोई ट्राइबल म्यूज़ियम – Chhindwara में घूमने की जगह
बादल भोई ट्राइबल म्यूज़ियम एक आदिवासी म्यूजियम है क्योंकि इस म्यूजियम का नाम एक आदिवासी गोंड़ नेता के नाम रखा गया है इस म्यूजियम में आपको आदिवासी जीवन शैली पारंपरिक वस्तु और कई सारे आभूषण देखने के लिए मिल जाएंगे और आप जानना चाहते हैं कि यह पहले किस तरह रहा करते थे तो आपको बादल भोई ट्राइबल म्यूज़ियम घूमने के लिए जरूर जाना चाहिए
5. सतपुड़ा टाइगर रिजर्व – Chhindwara me ghumne ki jagah
एक टाइगर रिजर्व है और यह सतपुड़ा पहाड़ियों के बीच में फैला हुआ है इस टाइगर रिज़र्व का क्षेत्रफल लगभग 15000 वर्ग किलोमीटर है और इसमें आपको बाघ तेंदुआ भालू और कई सारे चीज़ देखने को मिल जाएंगे यहां पर भारी संख्या में टूरिस्ट आते हैं अगर आप छिंदवाड़ा जाते हैं तो यह छिंदवाड़ा से काफी पास में पड़ता है और आपके यहां पर घूमने के लिए जरूर जाना चाहिए अगर आप प्राकृतिक प्रेमी और जानवरों से खास प्रेम करते हैं तो आपके लिए जगह किसी स्वर्ग से कम नहीं होगी
6. राधा-कृष्ण मंदिर छिंदवाड़ा – Chhindwara mein ghumne wali jagah
राधा कृष्ण मंदिर छिंदवाड़ा मध्य प्रदेश में स्थित प्राचीन हिंदू मंदिर है यह मंदिर भगवान कृष्ण और राधा मैया को समर्पित है और स्थानीय भक्तों के लिए यह काफी ज्यादा प्रसिद्ध है इस मंदिर की विशेषता इसकी वास्तु कला है यहां का शांत वाला वातावरण है जो श्रद्धालुओं को अपनी ओर खींचता है यहां पर विशेष रूप से राधा कृष्ण की पूजा की जाती है
और कई सारे उत्सव का आयोजन भी यहां पर किया जाता है मंदिर के परिसर भक्तों के लिए आरामदायक स्थान और वाह कीर्तन की व्यवस्था भी है यह स्थान न केवल धार्मिक का केंद्र वल्कि स्थानीय संस्कृति का परंपराओं को भी दर्शाता है अगर आप छिंदवाड़ा जाते हैं तो आपको राधा कृष्ण मंदिर घूमने के लिए जरूर जाना चाहिए और जन्माष्टमी या राधा अष्टमी के मौके पर यहां विशेष आयोजन किए जाते हैं जिसमें भारी संख्या में श्रद्धालु इस मंदिर में जाते हैं
7. कोलतार नदी – Chhindwara mein ghumne layak jagah
कोलतार नदी मध्य प्रदेश की एक महत्वपूर्ण नदी है जो नर्मदा नदी की सहायक नदी मानी जाती है यह मुख्य रूप से सतपुड़ा पर्वत श्रृंखला से निकलती है और कई सारे क्षेत्र से होते हुए नर्मदा नदी में मिल जाती है कोलतार नदी से कई सारे जीवन और वनस्पतियों का पेट भरता है यह नदी प्राकृतिक सुंदरता से भरपूर है और इसके आसपास कई जंगल और पहाड़ है जिसके कारण इस नदी का पानी स्थानीय किसान भी इस्तेमाल करते हैं और इस नदी के किनारे कई कई छोटे गाव भी बसे हुए हैं अगर आप छिंदवाड़ा जाते हैं तो आपको यह नदी देखने के लिए जरूर जाना चाहिए
Chhindwara me ghumne ki jagah final word
दोस्तों हमने हमारे इस आर्टिकल में आपको छिंदवाड़ा या छिंदवाड़ा के आसपास घूमने के लिए पॉपुलर जगह के बारे में विस्तार से बताया है अगर आपको हमारे द्वारा लिखा गया आर्टिकल अच्छा लगता है और इस आर्टिकल को पढ़ने के बाद आपको समझ आ गया है कि हम छिंदवाड़ा में कौन-कौन सी जगह पर घूमने के लिए जा सकते हैं तो आप हमारे इस आर्टिकल को अपने दोस्तों के साथ शेयर कर सकते हैं और कमेंट करके बता सकते हैं कि आपको हमारे द्वारा रखा गया आर्टिकल कैसा लगा धन्यवाद